*पटना (बिहार)- एनएमसीएच के अधीक्षक को पद से बर्खास्त करना दुर्भाग्यपूर्ण - शारीफ रंगरेज।
गजेंद्र सिंह
पटना : बिहार प्रदेश कोंग्रेस प्रवक्ता शारीफ अहमद रंगरेज ने कहा है कि नीतीश कुमार के डबल इंजन की सरकार में सच बोलने वाले को मार दिया जाता है या उसे पद से विमुक्त कर दिया जाता है। जिस तरह से एनएमसीएच के अधीक्षक डॉ निर्मल कुमार सिन्हा को सरकार का सच केंद्रीय टीम के जाहिर करने पर उन्हें पद से हटाया जाने के मामले पर भी रंगरेज ने नाराजगी जाहिर की है।
रंगरेज ने कहा है कि एनएमसीएच अधीक्षक ने दिल्ली से आई केंद्रीय टीम के सामने जो सच था अस्पताल की हालत वही कहा और सरकार की स्वास्थ्य विभाग में कमियों को बताया। मगर सरकार ने उनके ऊपर कार्रवाई कर पदमुक्त कर दिया जो काफी दुखद है। इस कोरोना संक्रमण के संकट के समय मे डॉक्टर को सम्मान देने के बजाय मुख्यमंत्री उसपर विभाग द्वारा कारवाई करने का आदेश दे रहे हैं इसे तानाशाही हुकूमत कहते हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण को लेकर जमीनी हकीकत को सरकार दबाना चाहती है। बिहार में अस्पताल की हालात बेहद खराब हैं, हर रोज कोरोना संक्रमण से मरीज अस्पताल में जाकर ऑक्सीजन या दवा की कमी से मर रहे हैं एक तरफ पूरा बिहार कोरोना से परेशान है वहीं बिहार के अंदर अस्पताल भी सुरक्षित नहीं है। आज बिहार में लोग कहीं भूख से तो कहीं अस्पताल में दवा की कमी से मर रहे हैं।
वहीं दूसरी तरफ उत्तर बिहार में बाढ़ की स्थिति बहुत ही भयावित बनी हुई है। मगर सरकार सिर्फ चुनाव कराने के नशे में डूबी है। बिहार कोरोना संक्रमण से एमएलसी, मंत्री का सहायक का देहांत हो रहा है, सरकार बस खुद में मगन है, इस समय चुनाव होना बिहार की जनता के लिए खतरे से खाली नही है।
गजेंद्र सिंह
पटना : बिहार प्रदेश कोंग्रेस प्रवक्ता शारीफ अहमद रंगरेज ने कहा है कि नीतीश कुमार के डबल इंजन की सरकार में सच बोलने वाले को मार दिया जाता है या उसे पद से विमुक्त कर दिया जाता है। जिस तरह से एनएमसीएच के अधीक्षक डॉ निर्मल कुमार सिन्हा को सरकार का सच केंद्रीय टीम के जाहिर करने पर उन्हें पद से हटाया जाने के मामले पर भी रंगरेज ने नाराजगी जाहिर की है।
रंगरेज ने कहा है कि एनएमसीएच अधीक्षक ने दिल्ली से आई केंद्रीय टीम के सामने जो सच था अस्पताल की हालत वही कहा और सरकार की स्वास्थ्य विभाग में कमियों को बताया। मगर सरकार ने उनके ऊपर कार्रवाई कर पदमुक्त कर दिया जो काफी दुखद है। इस कोरोना संक्रमण के संकट के समय मे डॉक्टर को सम्मान देने के बजाय मुख्यमंत्री उसपर विभाग द्वारा कारवाई करने का आदेश दे रहे हैं इसे तानाशाही हुकूमत कहते हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण को लेकर जमीनी हकीकत को सरकार दबाना चाहती है। बिहार में अस्पताल की हालात बेहद खराब हैं, हर रोज कोरोना संक्रमण से मरीज अस्पताल में जाकर ऑक्सीजन या दवा की कमी से मर रहे हैं एक तरफ पूरा बिहार कोरोना से परेशान है वहीं बिहार के अंदर अस्पताल भी सुरक्षित नहीं है। आज बिहार में लोग कहीं भूख से तो कहीं अस्पताल में दवा की कमी से मर रहे हैं।
वहीं दूसरी तरफ उत्तर बिहार में बाढ़ की स्थिति बहुत ही भयावित बनी हुई है। मगर सरकार सिर्फ चुनाव कराने के नशे में डूबी है। बिहार कोरोना संक्रमण से एमएलसी, मंत्री का सहायक का देहांत हो रहा है, सरकार बस खुद में मगन है, इस समय चुनाव होना बिहार की जनता के लिए खतरे से खाली नही है।